02 सितंबर, 2021

हाइकु (बरसात में )


 

१-आसामान  से 

काले भूरे बदरा

बरस रहे

 २-डर लगता  

टकराते  बादल

ही आपस में

 ३-बादल मिले

टकराए व्योम में  

  भय किससे

 ४-बरसात में

बिजली है कड़की

बरसे ओले  

 ५-मन मोहक  

बाँसुरी  वाले कान्हां

बंसी बजैया

 ६-रूप तुम्हारा

मन मोह रहा है

मन  मोहन  

 ७-राधा है शक्ति

तुम मन मोहन

मीरा है भक्ति

 ८-सत्य निष्ठ हो

भक्त हो  माधव  के

नमन तुम्हे 

९-झूला झूलते 

आया भादौ मास है  

गया  सावन  

आशा 

5 टिप्‍पणियां:

Your reply here: