इतना सरल नहीं आत्म मंथन
सब खोजते अपनी अच्छाई
पर अवगुणों तक पहुँच
नहीं हो पाती
यदि होती क्या बात होती
अपनी अच्छाई जान पाना
अपना भला बुरा जान पाना
नहीं होता सरल जिसे समझा जाए
पर अपने गुणदोष का आकलन
किया जा सके हो नहीं सकता
आशा सक्सेना
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