20 जून, 2023

अटल विश्वास

 



                                तुम्हारा हुस्न लाजबाब

तुममें गुण हैं  हजार

पर आत्म विश्वास की कमीं ने

कमर तोड़ दी तुम्हारी    |

यही यदि दृढ  रही होती 

खुद पर बड़ी आस्था होती

तुमने कभी अन्याय ना सहा होता

तुम्हारा सर कभी ना  झुका होता |

अपने को अपमानित नहीं समझा  होता

कारण कुछ भी रहा होता

पर कदम ना डोले होते |

एक यही उसे  वरदान मिला है

समाज में भी सम्मानित होती

 किसी से दूर नहीं होती

 यही अटल विश्वास

 यदि जाग्रत किया होत़ा

तुम आगे सब से होती

 जीवन मैं खुशहाल रहती  |

आशा सक्सेना

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