मैं जा रही अपना जीवन जीने
खुद का विश्वास लिए दामन में
किसी से कोई शिकायत नहीं है मुझे
किसी का एहसान नहीं लिया है मैंने |
मैं गलत नहीं हूँ जानती हूँ
तभी हर बात किसी की
आँखें बंद कर मानती नहीं
यही कमीं रही मुझ में
पर क्या करूं अपने आप को कैसे सुधारूं |
मुझमें हैं अनगिनत कमिया
यह भी पता है मुझको
मैं कोई भगवान् नहीं हूँ कि
सभी कार्य बिना गलती करती जाऊं |
अपने आप निदान खोजने में जुटी हूँ
मेरा कोई मददगार नहीं है
मझे खुद ही निवटना होगा इनसे
पर न जाने क्यों अपने आप में सिमटी हूँ |
कभी दुविधा भी होती है
हर काम किसी सहायता के बिना करने में
पर हूँ सक्षम आत्मविश्वास से भरी हूँ
यदि मन में ठान लिया पूरा कर के ही दमलूंगी||
आशा